हिमांशू जोशी
पिथौरागढ़. उत्तराखंड हाईकोर्ट के हर जिले में एक विद्युत शवदाह गृह बनाए जाने के फैसले पर मुहर लग गयी है. हाइकोर्ट ने जनहित याचिका पर सुनवाई करते हुए सरकार को हर जिले में एक विद्युत शवदाह गृह बनाने का आदेश जारी किया है. बात अगर पिथौरागढ़ की करें तो यहां विद्युत शवदाह गृह से काफी सहूलियत मिलेगी. दरअसल पिथौरागढ़ में अंतिम संस्कार के लिए 40 किलोमीटर दूर जाना पड़ता है और इस प्रक्रिया में पूरा दिन लग जाता है. साथ ही गरीब तबके के लोगों को शवयात्रा का इंतजाम करने में काफी दिक्कतें होती है. शवदाह स्थल दूर होना इसे बेहद खर्चीला बना देता है और पर्यावरण को भी काफी नुकसान पहुंचता है.
इन सब समस्याओं को देखते हुए पिथौरागढ़ के विधायक मयूख महर ने पहल करते हुए जिले के रंधोला में विद्युत शवदाह गृह बनाने के लिए आगे आये हैं. इसके लिए बजट भी वह मुहैया कराएंगे. विधायक का कहना है कि आमजन की सुविधाओं को ध्यान में रखते हुए इसका निर्माण किया जा रहा है.
40 किलोमीटर तय करनी होती है दूरी
दरअसल पिथौरागढ़ मुख्यालय के लोगों को अंतिम संस्कार के लिए 40 किलोमीटर दूर रामेश्वर धाम जाना पड़ता है. इस जगह पर सरयू और रामगंगा का संगम होता है. इस पवित्र स्थान पर अंतिम संस्कार के बाद तमाम अधजली लकड़ियों और अन्य सामग्रियों से इस स्थान में गंदगी जमा हो जाती हैं. दूर होने के कारण यह यात्रा बेहद खर्चीली भी बन जाती है. विद्युत शवदाह गृह के बन जाने से समय के साथ साथ धन की भी बचत होगी और पर्यावरण को भी नुकसान नहीं होगा. वहीं, जिला मुख्यालय की सारी आबादी अभी 40 किलोमीटर दूर रामेश्वर धाम के नजदीक ही अंतिम संस्कार के लिए जाती है जिससे कभी कभी उस जगह पर काफी भीड़ भी होती है.
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Tags: Crematorium, Pithoragarh news
FIRST PUBLISHED : August 31, 2022, 16:35 IST