नई दिल्ली. गुजरात तट पर जून में 25 साल बाद किसी गंभीर चक्रवाती तूफान ने दस्तक दी है. भारत मौसम विज्ञान विभाग (IMD) के मुताबिक साइक्लोन बिपरजॉय (Cyclone Biparjoy) 1965 के बाद से अरब सागर में बनने वाला केवल तीसरा ‘अत्यंत गंभीर’ चक्रवात है. आईएमडी ने कहा कि गुजरात तट को पार करने वाला बिपरजॉय ‘गंभीर’ श्रेणी (48 – 63 किमी. प्रति घंटा की हवा की गति) का पांचवां चक्रवात होगा. इस तरह देखा जाए तो बिपरजॉय पिछले 58 साल में जून में अरब सागर में उठने वाला एकमात्र तीसरा ‘अत्यंत गंभीर’ चक्रवात है. आईएमडी के मुताबिक ‘बेहद गंभीर’ चक्रवात बिपरजॉय के गुजरात के सौराष्ट्र-कच्छ और पाकिस्तान के कराची के बीच गुरुवार दोपहर के करीब तट को पार करने की उम्मीद है.
आईएमडी के डेटा के मुताबिक 1891 के बाद से ‘गंभीर’ श्रेणी (हवा की गति 89- 117 किमी / घंटा) या उससे अधिक के केवल पांच चक्रवातों ने जून में गुजरात पर लैंडफॉल किया है. विशेष रूप से ये सभी साइक्लोन 1900 के बाद के थे. ये ‘गंभीर’ या उच्च तीव्रता वाले चक्रवात 1920, 1961, 1964, 1996 और 1998 के दौरान आए थे. 100 किमी. प्रति घंटा की अधिकतम रफ्तार के साथ एक ‘गंभीर’ चक्रवात 18 जून, 1996 को दीव के करीब तट से टकराया था. एक और ‘बेहद गंभीर’ चक्रवात 9 जून, 1998 को पोरबंदर के पास 166 किमी. प्रति घंटा की अधिकतम हवा की गति के साथ तट से टकराया था.
जून में डिप्रेशन के ‘गंभीर’ चक्रवात में बदलने की संभावना कम
आईएमडी के मुताबिक जून में किसी डिप्रेशन के ‘गंभीर’ चक्रवात में बदलने की संभावना लगभग 35 प्रतिशत है. यह संभावना भी पूरे देश में बंगाल की खाड़ी और अरब सागर को मिलाकर है. यही कारण है कि इससे पहले गुजरात में इसके पहले केवल दो बेहद गंभीर चक्रवात जून में आए हैं. 1977 और 1998 में ‘बेहद गंभीर’ श्रेणी के चक्रवात गुजरात तट से टकरा चुके हैं और बिपरजॉय इस लिस्ट में तीसरा होने वाला है. जबकि भारत के पूर्वी समुद्र तट पर चक्रवातों का खतरा काफी ज्यादा है. इसके बावजूद पश्चिमी तट के कुछ इलाके विशेष रूप से केरल, कोंकण-गोवा, उत्तरी कोंकण और गुजरात पर भी समान रूप से साइक्लोन का खतरा बना रहता है.
देश के करीब 100 जिलों को साइक्लोन से जोखिम
आईएमडी के मुताबिक लेकिन इसके बावजूद अरब सागर में बनने वाले चक्रवातों की कुल संख्या (औसत 1) एक साल में बंगाल की खाड़ी (औसत 3) में बनने वाले चक्रवातों की तुलना में काफी कम है. जिससे देश के पश्चिमी तट के हिस्सों पर साइक्लोन का कम असर होता है. भारत में आईएमडी ने 72 तटीय जिलों के साथ तट से 100 किलोमीटर की सीमा के भीतर और 24 पड़ोसी जिलों की पहचान की है, जिनको चक्रवातों से ज्यादा खतरा है. इनमें तेज तूफान, बारिश और चक्रवातों के कारण होने वाले दूसरे खतरे शामिल हैं. आईएमडी ने इन जिलों को आगे ‘बहुत अधिक’ जोखिम वाले (12), ‘अत्यधिक’ जोखिम वाले (41), ‘मध्यम’ जोखिम वाले (30) और ‘कम’ जोखिम वाले (13) जिलों में बांटा है.
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Tags: Bay of Bengal Cyclone, Cyclone Biparjoy, Cyclone in Gujarat, India Meteorological Department
FIRST PUBLISHED : June 13, 2023, 07:26 IST
Source : https://hindi.news18.com/news/nation/biparjoy-to-be-first-cyclone-in-june-to-cross-gujarat-coast-in-25-years-6496941.html
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